भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं,
अब सुनता मेरी कौन है, किसे सुनाऊं मैं,
अब सुनता मेरी कौन है, किसे सुनाऊं मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं।।
जब से याद भुलाई तेरी, लाखों कष्ट उठाएं हैं मां,
लाखों कष्ट उठाएं हैं,
जब से याद भुलाई तेरी, लाखों कष्ट उठाएं हैं मां,
लाखों कष्ट उठाएं हैं,
क्या जानूं इस जीवन अन्दर कितने पाप कमाए हैं मां,
कितने पाप कमाए हैं,
क्या जानूं इस जीवन अन्दर कितने पाप कमाए हैं मां,
कितने पाप कमाए हैं,
अब हूं शर्मिंदा आपसे, क्या बतलाऊं मैं,
अब हूं शर्मिंदा आपसे, क्या बतलाऊं मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं।।
तू है अम्बे वरों की दाती, तुझसे सब वर पाते हैं मां,
तुझसे सब वर पाते हैं,
तू है अम्बे वरों की दाती, तुझसे सब वर पाते हैं मां,
तुझसे सब वर पाते हैं,
ऋषि, मुनि और योगी सारे, तेरे ही गुण गाते हैं मां,
तेरे ही गुण गाते हैं,
ऋषि, मुनि और योगी सारे, तेरे ही गुण गाते हैं मां,
तेरे ही गुण गाते हैं,
अब छींटा दे दो ज्ञान का, होश में आऊं मैं,
अब छींटा दे दो ज्ञान का, होश में आऊं मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं।।
मेरे पाप कर्म ही तुझसे, प्रीति न करने देते हैं मां,
प्रीति न करने देते हैं,
मेरे पाप कर्म ही तुझसे, प्रीति न करने देते हैं मां,
प्रीति न करने देते हैं,
कभी जो चाहूं मिलूं आपसे, रोक मुझे ये लेते हैं मां,
रोक मुझे ये लेते हैं,
कभी जो चाहूं मिलूं आपसे, रोक मुझे ये लेते हैं मां,
रोक मुझे ये लेते हैं,
फिर कैसे अम्बे आपके दर्शन पाऊं मैं,
भवानी कैसे अम्बे आपके दर्शन पाऊं मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं।।
जो बीती सो बीती लेकिन, बाकी उमर संभालूं मैं मां,
बाकी उमर संभालूं मैं,
जो बीती सो बीती लेकिन, बाकी उमर संभालूं मैं मां,
बाकी उमर संभालूं मैं,
प्रेम पाश में बंधा भवानी, भेंटें प्रेम की गा लूँ मैं मां,
भेंटें प्रेम की गा लूँ मैं,
प्रेम पाश में बंधा भवानी, भेंटें प्रेम की गा लूँ मैं मां,
भेंटें प्रेम की गा लूँ मैं,
अब सुनता मेरी कौन है, किसे सुनाऊँ मैं,
अब सुनता मेरी कौन है, किसे सुनाऊँ मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं,
भवानी तेरे दर को छोड़कर किस दर जाऊं मैं।।